NEET-UG के कथित “असंगत अंकों” पर सुप्रीम कोर्ट का परीक्षा निकाय को नोटिस


याचिका में 5 मई को आयोजित NEET-UG परीक्षा की शुचिता पर गंभीर चिंता जताई गई है।

नई दिल्ली:

सुप्रीम कोर्ट ने हाल ही में आयोजित NEET-UG परीक्षाओं में परीक्षा धांधली का आरोप लगाने वाली एक लर्निंग ऐप द्वारा दायर याचिका के बाद आज नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) को नोटिस जारी किया। कोर्ट ने NTA को 8 जुलाई तक नोटिस का जवाब देने का निर्देश दिया है, जब मामले पर सुनवाई होगी।

याचिका में 5 मई को आयोजित NEET-UG परीक्षा की सत्यनिष्ठा पर गंभीर चिंता जताई गई है। 4 जून को घोषित इस परीक्षा के नतीजे अनियमितताओं और कदाचार के आरोपों के साथ विवादों में घिरे हुए हैं। याचिकाकर्ताओं का दावा है कि 1,500 से अधिक छात्रों को ग्रेस अंक दिए गए, जिससे परीक्षा की समग्र रैंकिंग और निष्पक्षता पर काफी असर पड़ा है।

सुप्रीम कोर्ट के अलावा, केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) को भी कथित पेपर लीक और परीक्षा में धांधली से जुड़े कई मामलों की जांच का काम सौंपा गया है। सीबीआई की जांच कई राज्यों में फैली हुई है और इस मामले से जुड़े लोगों से पूछताछ और कई गिरफ्तारियां हो चुकी हैं।

कोचिंग सेंटर और अन्य छात्रों की ओर से पेश याचिकाकर्ताओं ने छात्रों को ऑप्टिकल मार्क रिकॉग्निशन (ओएमआर) शीट तक पहुंच के अधिकार के लिए तर्क दिया।

हालांकि, मामले की सुनवाई कर रहे न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा और न्यायमूर्ति एसवीएन भट्टी ने एनटीए की कार्रवाई से कथित तौर पर मौलिक अधिकारों के उल्लंघन पर सवाल उठाया।

आज संसद की संयुक्त बैठक को संबोधित करते हुए राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहा कि सरकार परीक्षा पेपर लीक से संबंधित आरोपों की जांच के लिए प्रतिबद्ध है।

उन्होंने कहा, “अगर किसी कारण से परीक्षा में बाधा उत्पन्न होती है तो यह उचित नहीं है। सरकारी भर्तियों और परीक्षाओं में शुचिता और पारदर्शिता बहुत जरूरी है।” “सरकार हाल ही में पेपर लीक की घटनाओं में निष्पक्ष जांच करने और दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा दिलाने के लिए प्रतिबद्ध है।”



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