योगी आदित्यनाथ ने यूपी के मंत्रियों से वीआईपी संस्कृति से दूर रहने को कहा – News18


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उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की फाइल फोटो। (पीटीआई)

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने राज्य सरकार के मंत्रियों से वीआईपी संस्कृति से दूर रहने को कहा

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को राज्य सरकार के मंत्रियों से वीआईपी संस्कृति से दूर रहने को कहा।

उन्होंने मंत्रियों को लोगों के बीच जाने का निर्देश दिया और उन्हें ‘‘संवाद, समन्वय और संवेदनशीलता’’ का मंत्र दिया।

उन्होंने कहा कि सरकार जनता के लिए होती है और उसके लिए जनहित सर्वोपरि होता है। ऐसे में समाज के अंतिम पायदान पर खड़े व्यक्ति की समस्याओं, अपेक्षाओं और जरूरतों का समाधान किया जाना चाहिए।

यहां जारी एक बयान में कहा गया कि मंत्रिपरिषद की विशेष बैठक में आदित्यनाथ ने उनसे जनता के बीच जाकर उनसे संवेदनशीलता के साथ संवाद करने तथा स्थानीय जनप्रतिनिधियों एवं प्रशासन के साथ समन्वय स्थापित कर उनकी समस्याओं का समाधान करने को कहा।

बातचीत के दौरान यूपी के मुख्यमंत्री ने जोर देकर कहा कि चाहे मंत्री हों या अन्य जनप्रतिनिधि, सभी को वीआईपी संस्कृति से बचना होगा।

उन्होंने कहा, ‘‘हम सभी को सतर्क और सावधान रहना होगा ताकि हमारी कोई भी गतिविधि वीआईपी संस्कृति को प्रतिबिंबित न करे।’’

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में लगातार तीसरी बार केन्द्र में सरकार बनने पर बधाई दी तथा सांसद चुने गए मंत्रियों को भी बधाई दी।

उन्होंने कहा कि मोदी के दस साल के कार्यकाल में जिस तरह यूपी में विकास को गति मिली है, आने वाले पांच साल में सरकार कई नए कीर्तिमान बनाने में सफल होगी।

उन्होंने मंत्रियों से केन्द्र और राज्य सरकार की उपलब्धियों का व्यापक प्रचार-प्रसार करने, सोशल मीडिया पर सक्रिय भागीदारी बढ़ाने, डबल इंजन सरकार की नीतियों, निर्णयों और सकारात्मक परिणामों से जनता को अवगत कराने को कहा।

विभागीय कार्ययोजना पर चर्चा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार एक ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था के लक्ष्य को प्राप्त करने की दिशा में काम कर रही है। इस संबंध में हर विभाग की जिम्मेदारी पहले से ही तय है। उन्होंने कहा कि मंत्रियों की जिम्मेदारी है कि वे लक्ष्य के अनुसार प्रगति की समीक्षा करें और जहां कहीं कोई कमी हो, उसे तत्काल सुधारें।

उन्होंने भविष्य की योजनाओं के बारे में कहा कि आने वाले दिनों में बड़े पैमाने पर पौधरोपण, स्कूल चलो अभियान और संचारी रोग नियंत्रण के कार्यक्रम हैं। सफलता के लिए सभी को अपने प्रयास करने होंगे। उन्होंने कहा कि सभी मंत्री अपने-अपने क्षेत्रों में इसके लिए अपना योगदान सुनिश्चित करें।

उन्होंने जनसुनवाई को प्राथमिकता देते हुए कहा कि आम आदमी की संतुष्टि और प्रदेश की प्रगति ही यूपी सरकार के सभी जनकल्याणकारी प्रयासों के मूल में है। जनसुनवाई समाधान प्रणाली (आईजीआरएस और सीएम हेल्पलाइन) आम आदमी की शिकायतों/समस्याओं के सरल समाधान के लिए बहुत उपयोगी माध्यम है।

उन्होंने कहा कि मंत्रीगण हों, अन्य जनप्रतिनिधि हों या अधिकारी-कर्मचारी हों, सभी की जिम्मेदारी है कि आईजीआरएस पर प्राप्त आवेदनों का प्राथमिकता के साथ त्वरित निस्तारण किया जाए।

(इस स्टोरी को न्यूज18 स्टाफ द्वारा संपादित नहीं किया गया है और यह सिंडिकेटेड न्यूज एजेंसी फीड से प्रकाशित हुई है – पीटीआई)



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