WordPress database error: [UPDATE command denied to user 'u284119204_7lAjM'@'127.0.0.1' for table `u284119204_nLZIw`.`wp_options`]
UPDATE `wp_options` SET `option_value` = '1' WHERE `option_name` = 'colormag_social_icons_control_migrate'

WordPress database error: [INSERT, UPDATE command denied to user 'u284119204_7lAjM'@'127.0.0.1' for table `u284119204_nLZIw`.`wp_options`]
INSERT INTO `wp_options` (`option_name`, `option_value`, `autoload`) VALUES ('_site_transient_timeout_wp_theme_files_patterns-f9b5cc6c9409d7104e99dfe323b42a76', '1741619536', 'off') ON DUPLICATE KEY UPDATE `option_name` = VALUES(`option_name`), `option_value` = VALUES(`option_value`), `autoload` = VALUES(`autoload`)

WordPress database error: [INSERT, UPDATE command denied to user 'u284119204_7lAjM'@'127.0.0.1' for table `u284119204_nLZIw`.`wp_options`]
INSERT INTO `wp_options` (`option_name`, `option_value`, `autoload`) VALUES ('_site_transient_wp_theme_files_patterns-f9b5cc6c9409d7104e99dfe323b42a76', 'a:2:{s:7:\"version\";s:5:\"2.1.2\";s:8:\"patterns\";a:0:{}}', 'off') ON DUPLICATE KEY UPDATE `option_name` = VALUES(`option_name`), `option_value` = VALUES(`option_value`), `autoload` = VALUES(`autoload`)

WordPress database error: [UPDATE command denied to user 'u284119204_7lAjM'@'127.0.0.1' for table `u284119204_nLZIw`.`wp_options`]
UPDATE `wp_options` SET `option_value` = '1741617736.1499669551849365234375' WHERE `option_name` = '_transient_doing_cron'

पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट: जनप्रतिनिधियों के खिलाफ असहमति की आवाज को दबाया नहीं जा सकता | इंडिया न्यूज - टाइम्स ऑफ इंडिया - Khabarnama24

पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट: जनप्रतिनिधियों के खिलाफ असहमति की आवाज को दबाया नहीं जा सकता | इंडिया न्यूज – टाइम्स ऑफ इंडिया



चंडीगढ़

: पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय ने कहा है कि असहमति की आवाज़ किसी जन प्रतिनिधि के कार्यों के खिलाफ या उसकी आलोचना करने वालों को संस्था द्वारा चुप नहीं कराया जा सकता। आपराधिक कार्यवाही केवल इसलिए कि यह “प्रभुत्व की स्थिति पर बैठे व्यक्ति को पसंद नहीं है।”
न्यायमूर्ति विनोद एस भारद्वाज कुरुक्षेत्र के तत्कालीन सांसद और वर्तमान हरियाणा के मुख्यमंत्री की आलोचना करने पर अजय वालिया के खिलाफ दर्ज एफआईआर को खारिज करते हुए यह बात कही। नायब सैनी और उनकी पत्नी सुमन सैनी पर गलत बयान देने का आरोप संत कबीर दास कोविड-19 महामारी के दौरान उनकी ओर से जारी एक विज्ञापन में।वालिया हरियाणा के अंबाला जिले के नारायणगढ़ के एक सरकारी शिक्षक हैं।
न्यायमूर्ति भारद्वाज ने यह भी कहा कि संसद या विधानसभा का सदस्य लोक सेवक माना जाता है और एक सार्वजनिक व्यक्ति होने के नाते, उसके कार्य और आचरण की सार्वजनिक आलोचना और सार्वजनिक समीक्षा की जा सकती है।
हरियाणा पुलिस को “अनुचित” व्यवहार के लिए वस्तुत: फटकार लगाते हुए उच्च न्यायालय ने कहा कि इस मामले में पुलिस ने “निष्पक्ष काम नहीं किया” तथा इसके बजाय वे उचित जांच होने पर सत्ता में बैठे व्यक्ति की नाराजगी मोल लेने के बारे में चिंतित थे।
याचिकाकर्ता को हरियाणा पुलिस ने 9 मई, 2020 को सैनी सभा, नारायणगढ़ के अध्यक्ष केहर सिंह की शिकायत पर नायब सैनी और उनकी पत्नी की ओर से जारी एक विज्ञापन के बारे में सोशल मीडिया पर आलोचनात्मक पोस्ट डालने के आरोप में मामला दर्ज किया था।
वालिया ने अपने सोशल मीडिया पोस्ट में उल्लेख किया था कि उन्होंने कबीर वाणी, साखी, सबद, रायमणि और बीजक में संत कबीर को पढ़ा है, लेकिन “पता नहीं कब, कहां और किस पुस्तक में संत कबीर ने कोरोना को भारत से बाहर निकालने का यह छंदबद्ध दोहा लिखा है।”
एफआईआर को रद्द करने की मांग करते हुए वालिया ने हाईकोर्ट के समक्ष दलील दी थी कि महज असहमति या मतभेद की अभिव्यक्ति को समाज के विभिन्न वर्गों के बीच नफरत को बढ़ावा देने का अपराध नहीं माना जा सकता।
न्यायमूर्ति भारद्वाज ने कहा, “एक लोकतांत्रिक देश में जनता के सदस्यों की सद्भावनापूर्ण, निष्पक्ष और रचनात्मक आलोचना, जो पूरी सावधानी और ध्यान से की गई हो… विशेषाधिकार प्राप्त है और इसे मानहानि नहीं माना जाएगा…”





Source link