“चुनाव के बाद क्यों”: बिहार में 9 दिनों में 5 पुल गिरने पर केंद्रीय मंत्री का सिद्धांत


जीतन राम मांझी ने कहा कि “गलत कामों” में शामिल लोगों को दंडित किया जाएगा।

केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी बिहार में लगातार हो रही पुल ढहने की घटनाओं में एक 'साजिश' देख रहे हैं। गया में पत्रकारों से बात करते हुए उन्होंने आश्चर्य जताया, “लोकसभा चुनाव के बाद ही पुल ढहने क्यों शुरू हो गए हैं?”

मंत्री ने कहा, “ऐसी घटनाएं 15 या 30 दिन पहले क्यों नहीं हो रही थीं? लोकसभा चुनाव के बाद ही पुल क्यों ढहने लगे? वे अब क्यों ढह रहे हैं? क्या राज्य सरकार को बदनाम करने की कोई साजिश है?”

पिछले नौ दिनों में राज्य भर में अररिया, सिवान, पूर्वी चंपारण, किशनगंज और मधुबनी जिलों में पांच पुल ढह गए हैं।

बिहार के मधुबनी क्षेत्र में शुक्रवार को एक निर्माणाधीन पुल ढह गया। 75 मीटर लंबे इस पुल का निर्माण बिहार सरकार के ग्रामीण कार्य विभाग द्वारा 2021 से कराया जा रहा था।

सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम (एमएसएमई) मंत्री ने यह भी कहा कि “गलत कार्यों” में शामिल लोगों को दंडित किया जाएगा।

उन्होंने कहा, “राज्य और केंद्र सरकारें ऐसी घटनाओं पर बारीकी से नजर रख रही हैं। गलत कामों में शामिल ठेकेदारों या इंजीनियरों को दंडित किया जाएगा।”

श्री मांझी ने इन घटनाओं के लिए “ठेकेदारों द्वारा इस्तेमाल की गई घटिया सामग्री” को भी जिम्मेदार ठहराया: “यह ठेकेदारों द्वारा इस्तेमाल की जा रही घटिया सामग्री के कारण हो रहा है। राज्य सरकार ऐसे ठेकेदारों के खिलाफ कार्रवाई कर रही है। राज्य के अधिकारी भी मामले की जांच कर रहे हैं। मैं उनसे साजिश के पहलू की भी जांच करने का अनुरोध करता हूं।”

लगातार पुल ढहने की घटनाओं को लेकर राज्य सरकार विपक्ष की ओर से खूब आलोचना झेल रही है। बिहार विधानसभा में विपक्ष के नेता तेजस्वी यादव ने शनिवार को नीतीश कुमार सरकार पर तंज कसते हुए कहा, “बिहार में डबल इंजन की सरकार की डबल पावर के कारण महज 9 दिनों में 5 पुल ढह गए हैं।”

मधुबनी की घटना किशनगंज जिले में एक अन्य पुल गिरने की घटना के ठीक एक दिन बाद हुई।

पुल ढहने की तीसरी घटना 23 जून को पूर्वी चंपारण के घोड़ासहन प्रखंड में हुई।

22 जून को सीवान में दरौंदा और महाराजगंज प्रखंडों को जोड़ने वाली नहर पर बना पुल ढह गया था। इससे पहले 18 जून को अररिया जिले के सिकटी प्रखंड में बकरा नदी पर बना 12 करोड़ रुपये का पुल ढह गया था।



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